जयपुर। राजस्थान में सियासी ड्रामा लगातार जारी है। इस बीच विधानसभा स्पीकर सीपी जोशी हाईकोर्ट के आदेश पर तिलमिला गए हैं। विधायकों को अयोग्य ठहराने के लिए नोटिस मामले पर हाईकोर्ट की रोक को स्पीकर जोशी बर्दाश्त नहीं कर पा रहे हैं। सीपी जोशी ने कहा है कि किसी विधायक को नोटिस देने या उसे अयोग्य घोषित करने का पूरा अधिकार विधानसभा अध्यक्ष को होता है। उन्होंने कहा है कि वह हाईकोर्ट के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका (एसएलपी) देंगे।
सीपी जोशी ने कहा कि स्पीकर को किसी विधायक को कारण बताओ नोटिस भेजने या उसे अयोग्य घोषित करने का पूरा अधिकार है, जब तक इस पर निर्णय ना हो जाए तब तक इसमें कोई दखल नहीं दे सकता है। उन्होंने कहा कि हमने संसदीय लोकतंत्र के नियमों के अंतर्गत इस कार्य को किया, हमने सुप्रीम कोर्ट के दिशानिर्देशों का पालन किया है। जोशी ने कहा कि फिलहाल विधायकों को नोटिस भेजा गया है, उन पर कोई फैसला नहीं लिया गया है।
विधानसभा स्पीकर ने कहा कि अगर हम कोई निर्णय लेते हैं, तो अदालत इस पर विचार कर सकती है। हमें केवल इतना कहना है कि विधानसभा के अध्यक्ष के काम में किसी भी तरह का हस्तक्षेप नहीं किया जाए। उन्होंने कहा कि हम हाईकोर्ट के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी देंगे, क्योंकि अदालत स्पीकर के कार्यों को बाधित या उसमें हस्तक्षेप नहीं कर सकती है। उन्होंने कहा कि 1992 में संवैधानिक पीठ ने यह तक किया है कि दल-बदल कानून पर स्पीकर ही निर्णय लेगा, ऐसे में स्पीकर के फैसले के बाद ही हाईकोर्ट इस पर विचार कर सकती है।





