जशपुर। छत्तीसगढ़ के जशपुर जिले में महिला ने अपने पति की गमछे से गला घोंटकर हत्या कर दी। घटना रविवार रात की घटना है। सोमवार को मृतक के भाई ने थाने पहुंचकर रिपोर्ट लिखवाई। इसके बाद पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्ट मार्टम कराया। हत्या के बाद महिला फरार हो गई थी। पुलिस की अलग अलग टीमों ने आरोपिया की तलाश की। पुलिस ने आरोपिया को जंगल से गिरफ्तार किया। धारा 103(1) बीएनएस के तहत कार्रवाई कर आरोपिया महिला को जेल भेज दिया गया है। मामला चौकी सोनक्यारी का है।
मिली जानकारी के अनुसार मद्रास राम (50) निवासी चिरोटोली शैला ने सोमवार को इस संबंध में शिकायत दर्ज कराई है। उन्होंने अपनी शिकायत में बताया कि वह अपने गांव में रहकर मजदूरी एवं बांस का सामान बनाने का कार्य करता है, इसके घर के पास में ही इसके छोटे भाई वकील राम (45) का घर है। 10 नवंबर की रा7 7 बजे उसके भाई वकील राम के घर से तेज आवाजें आ रही थी। चावल बेचने को लेकर पति पत्नी आपस में झगड़ा कर रहे थे। इसके बाद वह वकील राम के घर पहुंची तो उसकी भाभी बिरसी बाई उसके भाई के गले में गमछा फंसाकर खींचते हुए बाहर परछी में निकली।
दम घुटने से हो गई मौत
भाभी को अपने भाई को इस खींचते देख उसने सवाल किया तो वह उससे भी विवाद करने लगी। इसके बाद मद्रास ने अपने भाई को देखा तो उसकी सांस नहीं चल रही थी। उसने आसपास के लोगों को आवाज देकर बुलाया। यह देख बिरसी बाई वहां से फरार हो गई। इसके बाद डॉक्टरों से जांच कराने पर वकील राम की मृत्यू होना बताया गया। इस मामले में मद्रार राम ने चौकी पहुंचकर शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने मौके से शव को पीएम के लिए भेजा और आरोपिया की तलाश शुरू की।
जंगल में छिपी थी आरोपी पत्नी
घटना में एफआईआर के बाद पुलिस आरोपियां की तलाश में जुट गई। घटना के बाद से ही वह फरार थी। इसबीच मुखबिर से सूचना मिली कि बिरसी बाई को जंगल के पास देखा गया है। सूचना के बाद घेराबंदी कर बिरसी बाई को गिरफ्तार किया गया। पूछताछ में उसने हत्या करना स्वीकार किया। जंगल में रहते हुए उसे भूख लग रही थी तो वह खाने के लिए बाहर निकली और पुलिस की गिरफ्त में आ गई। इस पूरे हत्याकांड की वजह घर पर रखे चावल बेचने को लेकर विवाद है। प्रकरण की विवेचना थाना प्रभारी सन्ना उप निरीक्षक बृजेश यादव, चौकी सोनक्यारी प्रभारी एएसआई बालकृष्ण भगत, प्रधान आरक्षक विजय खूंटे, प्रधान आरक्षक विशाल गुप्ता, आरक्षक विरेन्द्र तेंदुआ, विमलेश्वर एक्का, महिला आरक्षक सुनिति एक्का एवं नगर सैनिक शिवशकर रवि का योगदान रहा है।