रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने भेंट-मुलाकात कार्यक्रम में लोगों को शासकीय कार्यक्रमों की क्रियान्वयन से मिल रहे लाभ के बारे में रूबरू जानकारी ली। इस मौके पर राजनांदगांव जिले के ग्राम लाल बहादुर नगर में भेंट-मुलाकात कार्यक्रम की शुरूआत की। इस मौके पर उन्होंने लाल बहादुर नगर को नगर पंचायत बनाने व यहां स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम स्कूल शुरू करने की घोषणा की।
मुख्यमंत्री ने भेंट-मुलाकात कार्यक्रम में ग्रामीणों से चर्चा के दौरान लोगों की मांग पर लाल बहादुर नगर को नगर पंचायत बनाने, स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम स्कूल शुरू करने, आलिवारा में हाईस्कूल का हायर सेकंडरी स्कूल में उन्नयन व किसान सुविधा केंद्र, मांगीखुटा जलाशय निर्माण, जमारी डायवर्सन क्रमांक 2 के प्रशासकीय स्वीकृति और ग्राम माटेकसा से पिनकापार वृहद पुल निर्माण की घोषणा की। इस मौके पर उन्होंने विभिन्न विभागीय योजनाओं के 77 हितग्राहियों को मोटराइज्ड सायकल, ट्राय सायकल, पोषण कीट, सिलाई मशीन, गैस सिलेण्डर, बीज कीट आदि वितरण किया।

मुख्यमंत्री ने ग्रामीणों से चर्चा करते हुए कहा कि विधानसभा में बैठकर हम योजना बनाते हैं। सचिवालय में इस पर बारीकी से कार्य होता है फिर जिला प्रशासन इसे कार्यान्वित करता है। इन योजनाओं का ठीक से क्रियान्वयन हो रहा है या नहीं, यह जानने के लिए आया हूँ। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार किसानों के हित में कार्य कर रही है। सबसे पहले किसानों को भारी भरकम खेती-किसानी के कर्ज से मुक्त करने का फैसला किया। इसके लिए हमने अल्पकालिन कृषि ऋण माफी योजना के माध्यम से किसानों को कर्ज से मुक्ति दिलाई।

देश में पहली बार चिटफण्ड कंपनियों के निवेशकों की राशि वापस हुई
मुख्यमंत्री बघेल ने चिटफण्ड कंपनियों के बारे में चर्चा करते हुए कहा कि इन कम्पनियों ने निवेशकों को आर्थिक क्षति पहुंचाई है। उनके झूठे वादे किए और लोगों को नुकसान पहुंचाया है। राज्य सरकार इन पर लगातार कार्रवाई कर रही है। देश में पहली बार निवेशकों की राशि वापस हुई। छत्तीसगढ़ में ऐसी कार्रवाई यह पहली बार हुई है, लेकिन यह राहत की शुरुआत है। हम इस पर लगातार काम कर रहे हैं। इन कम्पनियों के कई डाइरेक्टर्स गिरफ्तार हुए हैं। इन कंपनियों की संपत्ति भी खंगाली है। राजनांदगांव जिले में 19 हजार लोगों के 15 करोड़ रुपये वापस भी हुए।
हीमोफीलिया रोग से पीड़ित बच्चों का होगा इलाज
मुख्यमंत्री ने भेंट-मुलाकात के दौरान संवेदनशील पहल करते हुए दुर्लभ बीमारी हीमोफीलिया से ग्रसित दो बच्चों के इलाज के लिए शासन से राशि स्वीकृति करने की सहमति दी। उन्होंने इन बच्चो के पिता श्री माखनलाल से कहा कि बच्चों के इलाज की चिंता हमारी भी है। मुख्यमंत्री ने कलेक्टर को तुरंत इलाज आरम्भ कराने और हर संभव सहायता के निर्देश दिए। ग्राम छुरिया निवासी श्री माखनलाल निर्मलकर ने मुख्यमंत्री को बताया कि उनके दोनों बच्चे हीमोफीलिया बीमारी से ग्रसित है, जिससे खून का थक्का नहीं जमता है। थोड़ी भी चोट लगती है तो, खून बह जाता है। इन्हें 16-16 हजार रूपए के इंजेक्शन लगते हैं। दो साल पहले बेंगलुरु में इन बच्चों का ऑपरेशन हुआ था। काफी इलाज कराने के बाद भी ठीक नहीं हो रहा है। राजनांदगांव जिले में इस बीमारी के केवल दो ही मरीज है। वह गरीब है और आगे का इलाज कराने में समर्थ नहीं है।