भिलाई. धनतेरस और दिवाली से पहले खरीदारी का एक बेहद विशेष संयोग बना है। पंचांग के अनुसार 18 अक्टूबर मंगलवार यानी आज कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की अष्टमी की तिथि है। इस दिन पुष्य नक्षत्र का शुभ संयोग बना हुआ है। पौराणिक ग्रंथों में पुष्य नक्षत्र को अत्यंत शुभ नक्षत्रों में से एक माना गया है। पुष्य नक्षत्र को सभी नक्षत्रों का अधिपति कहा गया है। मान्यता है कि शुभ कार्य करने के लिए पुष्य नक्षत्र सबसे शुभ नक्षत्र है। इस नक्षत्र के बारे में ये माना जाता है कि शुभ कार्य करने के लिए इस नक्षत्र में पंचांग देखने की आवश्यकता नहीं पड़ती है। यही वजह है कि पुष्य नक्षत्र का लोग इंतजार करते हैं। पंचांग के अनुसार मंगलवार को सिद्ध योग का भी अति शुभ संयोग बन रहा है। इसलिए आज के दिन लोग जमकर खरीददारी कर सकते हैं।
दो सौ साल बाद बना दुर्लभ संयोग
आज बन रहे पंच महायोग का दुर्लभ संयोग पिछले 200 साल में नहीं बना। आज सूर्योदय के साथ ही पुष्य नक्षत्र शुरू हो गया है। इस महामुहूर्त में हर तरह का शुभ काम लाभदायक, स्थायी और शुभ फलदायी रहेगा। रियल एस्टेट में निवेश, नए कामों की शुरुआत, वाहन, ज्वेलरी, कपड़े और अन्य चीजों की खरीदारी का अक्षय लाभ मिलेगा। साथ ही घरेलू और ऑफिस में इस्तेमाल की जरूरी चीजें खरीदना भी शुभकारी रहेगा।
निवेश के लिए भी उत्तम संयोग
पुष्य नक्षत्र को निवेश के लिए भी शुभ फलदायी माना गया है। इस नक्षत्र में पॉलिसी, इंश्योरेंस प्लान्स, म्यूचल फंड और शेयर बाजार आदि में भी किसी जानकार से सलाह लेकर धन का निवेश कर सकते हैं।
गुरु पुष्य नक्षत्र मुहूर्त
ब्रह्म मुहूर्त- प्रात: 04:43 से प्रात: 05:33 तक
प्रात: सन्ध्या- प्रात:05:08 से प्रात: 06:23 तक
अभिजीत मुहूर्त- प्रात: 11:43 से दोपहर 12:29 तक
विजय मुहूर्त- दोपहर 02:00 से दोपहर 02:46 तक
गोधूलि मुहूर्त- दोपहर 05:37 से शाम 06:01 तक
सायाह्न सन्ध्या- शाम 05:49 से रात्रि 07:04 तक
अमृत काल- रात्रि 12:53, 19 अक्टूबर 2022 से प्रात: 02:40 तक (19 अक्टूबर 2022)
निशिता मुहूर्त-रात्रि 11:41 से रात्रि 12:32 (19 अक्टूबर 2022)