जम्मू (एजेंसी)। चैत्र नवरात्र के लिए धर्मनगरी मां वैष्णो के भक्तों के स्वागत के लिए तैयार है। हर साल की तरह इस बार भी मां वैष्णो देवी के दरबार, प्राकृतिक गुफा सहित यात्रा मार्ग को विदेशी फूलों से विशेष रूप से सजाया गया है। पूरा यात्रा मार्ग फूलों की खुशबू से सुगंधित हो उठा है। वहीं, अटका आरती के बाद से भवन में शतचंडी महायज्ञ शुरू हो जाएगा। हालांकि, कोरोना के चलते इस बार कटड़ा के बाजार में होने वाली विशेष दुर्गा पूजा और कलश यात्रा को रद्द कर दिया गया है। चैत्र नवरात्र पर मां के दर्शन के लिए भक्तों में काफी उत्साह है। इस बार नवरात्र में श्रद्धालुओं की संख्या बढऩे की संभावना है। वहीं, श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड की ओर से भक्तों के स्वागत के लिए पुख्ता प्रबंध किए हैं।
इस दौरान देशभर में बढ़ रहे कोरोना के मामलों के बीच धर्मनगरी में सुरक्षा कदम उठाए गए हैं। उधर, भवन, यात्रा मार्ग सहित अर्धकुंवारी स्थल को विदेशी फूलों से विशेष रूप से सजाया गया है। भवन मार्ग पर कई स्थानों में आकर्षक प्रवेश द्वार बनाए गए हैं। इससे मार्ग फूलों की खुशबू से महक रहा है और भक्त भी आनंदित हो रहे हैं। दरबार में मां वैष्णो देवी के नौ रूपों की विशेष तौर पर स्थापना की गई है। चैत्र नवरात्र पर मुख्य बस स्टैंड पर रोजाना होने वाली दुर्गा पुजा को कोरोना संकट के चलते रद्द किया गया है। आयोजक कमेटी के प्रधान दीपक परोच ने बताया कि यात्रियों की अधिक की संभावना के चलते एहतियातन कदम उठाया गया है। वहीं, इस बार कलश यात्रा भी नहीं निकाली जाएगी।
सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध
धर्मनगरी सहित यात्रा मार्ग और दरबार में सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध किए गए हैं। मूरी चैक पोस्ट, नोमांई, सेरली, पैंथल, बालनी आदी स्थानों पर हर वाहन की गंभीरता सेे जांच की जा रही है। पुलिस की मोबाइल टीमें लगातार गश्त कर रही हैं। इसके अलावा डाग स्क्वॉयड का भी इस्तेमाल किया जा रहा है।
आरटी पीसीआर करवाना अनिवार्य
मां वैष्णो देवी के मंदिर में जाने के लिए भक्तों का आरटी पीसीआर करवाना अनिवार्य है, रिपोर्ट को दिखाकर ही मंदिर में प्रवेश करने की अनुमति दी जाएगी। दिल्ली से दर्शन करने आए एक भक्त ने बताया कि हमें मंदिर में प्रवेश करने के लिए कोरोना की नकारात्मक आरटी-पीसीआर रिपोर्ट पेश करनी है। उन्होंने कहा कि मैं प्रार्थना करता हूं कि यह संक्रमण जल्द ही समाप्त हो जाए
वैष्णो देवी मंदिर में भक्तों का आगमन… विदेशी फूलों से सजा मां का दरबार
