नई दिल्ली। कृषि कानूनों के खिलाफ राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में गणतंत्र दिवस पर शांतिपूर्ण ट्रैक्टर रैली के दौरान हुए बवाल के बाद दिल्ली में कड़ी सुरक्षा है। किसानों की ट्रैक्टर रैली के दौरान हुई हिंसा के संबंध में दिल्ली पुलिस ने अब तक 22 प्राथमिकी दर्ज की हैं। इनमें से ईस्टर्न रेंज में 5 एफआईआर दर्ज की गई हैं। किसानों के उग्र रवैय्ये के कारण बुधवार को भी दिल्ली में कई रास्ते बंद कर दिए गए हैं। वहीं किसानों के उग्र प्रदर्शन के बाद हुई हिंसा में अब तक लगभग 300 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं।
उल्लेखनीय है कि किसानों ने मंगलवार को ट्रेक्टर परेड के नाम पर जमकर हंगामा किया। किसान संगठनों ने अपनी ट्रैक्टर परेड तय वक्त से पहले ही शुरू कर दी। पुलिस ने परेड के लिए मंगलवार दोपहर 12 से शाम 5 बजे का वक्त और रूट तय किया था। दिल्ली में दाखिल होने के लिए सिंघु, टीकरी और गाजीपुर एंट्री प्वाइंट बनाए गए थे। लेकिन किसान सुबह 8.30 बजे ही इन एंट्री प्वाइंट्स पर बैरिकेड्स तोड़कर दिल्ली में घुसने लगे। पुलिस ने रोकने का प्रयास किया तो उन पर टूट पड़े। दिल्ली पुलिस की माने तो दिन भर चली हिंसा में लगभग 300 पुलिस कर्मी घायल हो गए।
लालकिले पर फहराया किसानों का झंडा
सिंघु से चले किसानों ने रूट बदला और दोपहर करीब दो बजे हजारों किसान जबरदस्ती लाल किले के भीतर दाखिल हुए और बाहर अपने ट्रैक्टर खड़े कर दिए। यहां पुलिस के साथ हाथापाई की, तोडफ़ोड़ मचाई और फिर प्राचीर पर चढ़ गए। हल्लागुल्ला और हंगामे के बीच एक युवक दौड़ता हुआ आगे बढ़ा और उसने उस पोल पर चढ़ कर खालसा पंथ का झंडा लगा दिया, जहां हर साल 15 अगस्त पर प्रधानमंत्री तिरंगा फहराते हैं। करीब डेढ़ घंटे तक किसान यहां उपद्रव करते रहे। पुलिस को इन्हें खदेडऩे के लिए लाठीचार्ज करना पड़ा।
तय समय से पहले शुरू कर दी परेड़
किसानों ने अपनी परेड तय वक्त से साढ़े तीन घंटे पहले शुरू की और किसी प्रकार का रूट फॉलो नहीं किया। सबसे पहले सिंघु बॉर्डर से किसान दिल्ली में दाखिल हुए। यहां बैरिकेड्स तोड़ दिए गए। इसके बाद टीकरी और गाजीपुर में भी किसानों ने इसी तरह दिल्ली में एंट्री की। गाजीपुर बॉर्डर से निकले किसानों को पुलिस ने दोपहर को नोएडा मोड़ पर रोका और आंसू गैस के गोले छोड़े। इस दौरान किसानों ने भी पुलिस पर पथराव किया और गाडिय़ों में तोडफ़ोड़ की। पुलिस ने दावा किया कि प्रदर्शन कारी किसानों ने पुलिस पिकैट पर ट्रेक्टर चढ़ाने का प्रयास किया।
गणतंत्र दिवस पर किसानों का उपद्रव: हिंसा में अब तक 22 एफआईआर….. किसानों के हमले से 300 से ज्यादा पुलिसकर्मी घायल




