कवर्धा। शासकीय स्नात्तकोत्तर महाविद्यालय कवर्धा में स्वामी विवेकानंद जयंती धूमधाम से मनाई गई। इस दिन भारतीय राष्ट्रीय छात्र संगठन एनएसयूआई ने सरकारी अस्पताल में पहुंचकर जरूरतमंदों के लिए रक्तदान जैसा अनुकरणीय कार्य किया।
युवाओं के प्रेरणास्रोत स्वामी विवेकानंद की प्रतिमा का छात्रों ने पूजा-अर्चना कर तिलक लगाया और माल्यार्पण किया। युवा कांग्रेस के कार्यकारी जिलाध्यक्ष मोहित माहेश्वरी ने कहा कि स्वामी जी मानवता के प्रति लगाव रखते थे। उन्होने मानव सेवा को ही अपना धर्म बना लिया था। वे मनुष्य सेवा को ही ईश्वर सेवा मानते थे। स्वामी जी ने कहा था कि अपने लक्ष्य की ओर अग्रसर हो, उठो जागो और तब तक मत रुको जब तक लक्ष्य की प्राप्ति न हो जाए। उन्होने सभी युवाओं से स्वामी के विचारों को आत्मसात करने की प्रेरणा दी।
एनएसयूआई विधानसभा अध्यक्ष वाल्मिकी वर्मा ने कहा कि स्वामी जी युवाओं के प्रेरणा स्रोत महान दार्शनिक शिक्षाविद हैं। उन्होने भारतीय युवाओ का धार्मिक, शारीरिक, मानसिक, बौद्धिक सर्वांगीण विकास के लिए अथक प्रयास किया। साथ ही उस समय के महिला की दयनीय स्थिति देखकर उनकी शिक्षा, सम्मान के लिए आवाज उठाया, जिससे हर महिला धैर्यवान, बलवान, वीरपुत्रों को जन्म देकर स्वस्थ और मजबूत समाज और राष्ट्र का निर्माण में अपनी अहम भूमिका निभा सके। इस प्रकार स्वामी जी हर क्षेत्र में युवाआंे, महिलाओं व जनमानस को एक आत्मविश्वास का ऐसा मंत्र दिया, जिससे भारतीय संस्कृति की सुरभि पूरे विश्व में फैल सके। स्वामी जी ने सन्देश दिया था कि ब्रम्हांड की सारी शक्ति हमारे अंदर समाहित है। जो हम सोचते वैसे हम बन जाते हैं। आज देश के विकास में अतुलनीय योगदान देने वाले स्वामी जी की जयंती को पूरा देश राष्ट्रीय युवा दिवस के रूप में मनाता आ रहा है।
इस शुभ अवसर पर जिला अस्पताल में जाकर परमानन्द वर्मा, कोमल वर्मा, पप्पू चंद्रवंशी, लालबहादुर चंद्रवंशी, दुर्गेश साहू, राजाराम ध्रुर्वे, रामकुमार जायसवाल, मुनिराम चंद्रवंशी ने सेवा भाव से रक्तदान किया। इस कार्यक्रम में माधवेश चन्द्रवंशी, देव चन्द्रवंशी, गजेंद्र वर्मा, भूपेश चन्द्रवंशी, अयोध्या साहू, संदीप साहू, सुनील चन्द्रवंशी, नागेश चन्द्रवंशी, प्रदीप साहू, घनश्याम यादव, अजय पात्रे, विनोद वर्मा, अनिरुद्ध वर्मा, कुशाल चन्द्रवंशी, हेमंत, सनत, विकाश, अमित चन्द्रवंशी, शुभम साहू, परदेशी निर्मलकर, प्रदीप चन्द्रवंशी अनेक कार्यकर्ताओं के साथ उपस्थित थे।