रायपुर (श्रीकंचनपथ न्यूज़)। प्रदेश की सरकार छत्तीसगढ़ से उत्तर प्रदेश की अयोध्या राम नगरी दर्शन के लिए श्री रामलला दर्शन यात्रा योजना की शुरूआत करने जा रही है। यह यात्रा 22 जनवरी से शुरू होने जा रही है। भाजपा की विष्णुदेव साय सरकार की यह योजना पार्टी के लिए क्रांतिकारी साबित हो सकती है। यात्रा के माध्यम से सरकार राम की नगरी अयोध्या जाने वाले यात्रियों को मुफ्त अयोध्या दर्शन कराएगी। सरकार ने हर साल 20 हजार लोगों को यात्रा कराने का लक्ष्य रखा है। इस यात्रा को करने वाले लोग जिनकी उम्र की समय सीमा 18 वर्ष से 75 वर्ष तय की गई है। इसके साथ ही 55 वर्ष के ऊपर के लोगों को इस योजना में पहली प्राथमिकता दी जाएगी। सरकार ने इसको लेकर सभी जिले के कलेक्टरों की निगरानी में समिति बनाने को कहा है जो इस पूरी योजना को सुचारू रूप से चलाना का काम करेगी। इस योजना को लेकर छत्तीसगढ़ पर्यटन विभाग पूरी तरह से बजट तैयार कर आईआरसीटीसी के माध्यम से तीर्थयात्रियों को यात्रा कराएगा।
अयोध्या में राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा होने जा रही है। पूरा देश 22 जनवरी का इंतजार कर रहा है। सनातन धर्म को मानने वाले लोगों के लिए यह किसी पर्व से कम नहीं है। कुछ महीनों के बाद देश में आण चुनाव भी होने हैं। लगातार देश में विपक्षी दल सत्ताधारी भाजपा के ऊपर राम मंदिर पर राजनीति करने का आरोप लगा रही है। छत्तीसगढ़ में भी प्रदेश की भाजपा सरकार श्रीरामलला योजना लाकर प्रदेश के लोगों को मुफ्त अयोध्या यात्रा करा रही है। इस यात्रा को कई राजनीतिक दल चुनावी स्टंट करार दे रहे है। हालांकि पूर्ववर्ती भाजपा सरकार में भी धार्मिक स्थलों के दौरे कराए जाते रहे हैं। लेकिन उस दौरान विपक्षी दल को कोई आपत्ति नहीं थी। संभवत: भविष्य में भाजपा को मिलने वाले राजनीतिक फायदों की वजह से ही विरोधी दल राम मंदिर मसले को राजनीति से जोड़कर देख रहे हैं। छत्तीसगढ़ में 11 लोकसभा सीटें है। प्रदेश में श्री रामलला तीर्थ यात्रा से आने वाले चुनाव पर इसका कितना असर होगा, यह तो भविष्य ही बताएगा।
93 फीसद से ज्यादा हिंदू
छत्तीसगढ़ की जनसंख्या को जाति और धर्म के आधार पर समझने का प्रयास करें तो साल 2011 की जनगणना के अनुसार प्रदेश में कुल जनसंख्या लगभग 2 करोड़ 55 लाख 45 हजार के पास है। जिसमें 93.24 प्रतिशत हिंदू है। वहीं मुस्लिम 0.02 प्रतिशत और 0.019 प्रतिशत क्रिश्चियन है। जबकि सिख 0.0027 प्रतिशत, बौद्ध 0.0027 प्रतिशत और 0.019 प्रतिशत लोग अन्य धर्म को मामने वाले है। इन सभी में कई लोग ऐसे है जिनके धर्म का उल्लेख कहीं नही है। वहीं, अगर जातीय आधार पर देखें तो प्रदेश में कुल आबादी का 45 प्रतिशत ओबीसी वर्ग है। 37 प्रतिशत एससी और एसटी वर्ग से हैं। इसके अलावा 18 प्रतिशत के लगभग सामान्य वर्ग है। माना जाता है कि सनातन धर्म को मानने वाले सबसे ज्यादा लोग हिंदू धर्म से आते हैं लेकिन उनमें भी कई भिन्नता है। कहा जाता है कि आदिवासी अपने देव जैसे बूढ़ादेव व जंगल की देवी को पूजते है।

भाजपा सरकार पहले भी कराती रही है यात्राएं
छत्तीसगढ़ की विष्णुदेव साय सरकार प्रदेश के लोगों को श्री रामलला योजना के माध्यम से यात्रा कराएगी। यह यात्रा इसी महीने की 22 जनवरी से शुरू होने जा रही है। यानी लोकसभा चुनाव से पहले यात्रा के माध्यम से सरकार प्रदेश में राम के नाम संदेश देने का काम करेगी। यह यात्रा कहीं न कहीं प्रदेश में लोकसभा से पहले प्रदेश में चुनावी संदेश में शामिल की जाएगी। जानकारों की माने तो इस यात्रा से भाजपा को छत्तीसगढ़ के लोकसभा चुनाव में जरूर फायदा मिलेगा। फिलहाल जिला स्तर पर यात्रा के लिए समितियां बनाई जा रही है। पूर्व में डॉ. रमन सिंह की सरकार के दौरान भी छत्तीसगढ़ के धर्मप्रेमियों के लिए यात्राएं स्पॉन्सर की जाती रही है।
22 को रहेगी स्कूल-कॉलेज की छुट्टी
छत्तीसगढ़ सरकार ने 22 जनवरी के ऐतिहासिक दिन प्रदेश के सभी शैक्षणिक संस्थानों को पूरी तरह से बंद करने का निर्णय लिया है। छत्तीसगढ़ सरकार ने प्रदेश के सभी स्कूल और कॉलेज की छुट्टी की घोषणा कर दी है। अयोध्या में भगवान राम के प्राण प्रतिष्ठा पर देश भर में लोग त्योहार की तरह मनाएंगे। जिसको लेकर सरकार ने बच्चों की खुशी को देखते हुए अवकाश घोषित कर दिया है। बतादें के प्रदेश सरकार के मंत्री बृजमोहन अग्रवाल ने इस मुद्दे को बीते दिनों साय कैबिनेट की बैठक में उठाया था। जिसके बाद सरकार ने इस पर संज्ञान लेते हुए आदेश किया है। सरकार द्वारा छुट्टी के ऐलान के बाद मंत्री बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि 22 जनवरी को प्रदेश के सभी मंदिरों में पूजा की जाएगी। उन्होंने कहा कि साय कैबिनेट में मोदी की गारंटी के तहत रामलला के दर्शन की बात की गई। प्रदेश में राम भक्तों को ट्रेन में दर्शन कराने का फैसला हुआ। अब सरकार छत्तीसगढ़ के लोगो को अयोध्या राम नगरी के दर्शन कराएगी, जिसमें एक बार में 800 से 1000 लोगों को दर्शनार्थ अयोध्या ले जाया जाएगा। इसके साथ ही अग्रवाल ने कहा कि 22 जनवरी को प्रदेश की नदियों और तलाबों में दीए जलाकर उत्सव मनाया जाएगा। बच्चे भी इस बात के साक्षी बनेंगे। इस लिए इस दिन पूर्ण अवकाश की घोषणा की है।