स्पोर्ट्स डेस्क/डरबन (एजेंसी)। भारत की युवा ब्रिगेड की रविवार से यहां शुरू हो रही तीन मैचों की टी-20 सीरीज के पहले मुकाबले में दक्षिण अफ्रीका की उछाल भरी पिचों पर कड़ी परीक्षा होगी। कप्तान सूर्यकुमार यादव की अगुवाई में टीम ने वनडे विश्वकप के बाद ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अपने घर में टी-20 सीरीज 4-1 से जीती थी। अब युवा टीम लगातार दूसरी टी-20 सीरीज जीतने के इरादे से उतरेगी। चोटिल कप्तान हार्दिक पांड्या आईपीएल शुरू होने तक बाहर हैं और मुख्य तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह ब्रेक पर हैं। इसके अलावा जून में होने वाले टी-20 विश्वकप से पहले विराट कोहली और रोहित शर्मा के टी-20 भविष्य को लेकर स्पष्टता नहीं है तो कोई भी दक्षिण अफ्रीका में टीम की सफलता या विफलता के बारे में ज्यादा कुछ नहीं कह पाएगा।
टी-20 विश्वकप के लिए भारत की कोर टीम को लेकर स्थिति आईपीएल के एक महीने बाद ही स्पष्ट हो पाएगी क्योंकि उस समय खिलाडिय़ों की फॉर्म और फिटनेस चयन का मानंदड रहेगा। जनवरी के मध्य में अफगानिस्तान के खिलाफ सीरीज से पहले दक्षिण अफ्रीका सीरीज भारत के लिए अंतिम बड़ी अंतरराष्ट्रीय टी-20 सीरीज होगी।
श्रेयस, मुकेश, ईशान तीनों टीमों में शामिल
भारत टी-20 सीरीज के लिए 17 खिलाडिय़ों को लेकर गया है और इनमें से केवल तीन श्रेयस अय्यर, मुकेश कुमार और ईशान किशन 50 ओवर प्रारूप का भी हिस्सा हैं। लेकिन टीम के सामने कई मुश्किल मुद्दे होंगे जिसमें सलामी बल्लेबाज और तीसरे नंबर के बल्लेबाज को पिछले टी-20 विश्वकप में भारत के लिए अभिशाप रही रक्षात्मक होने की प्रवृति को बदलना होगा।
ऋतुराज को नहीं किया जा सकता नजरअंदाज
यशस्वी पहले ही दिखा चुके हैं कि वह किस आक्रामक स्तर की बल्लेबाजी करते हैं और शुभमन गिल अब सभी प्रारूपों में पहली पसंद बन गए हैं, जबकि ऋतुराज गायकवाड़ को भी नजरअंदाज करना मुश्किल होगा। समस्या यही है कि अगर जायसवाल, गिल और गायकवाड़ की तिकड़ी बल्लेबाजी करती है तो ईशान किशन चौथे नंबर के बाद ज्यादा अच्छे विकल्प नहीं हैं। और चौथे नंबर पर भारत के नंबर एक टी-20 बल्लेबाज और कप्तान सूर्यकुमार मौजूद हैं।
ईशान को जितेश से मिलेगी चुनौती
फिर विकेटकीपर की जगह पर किशन को जितेश शर्मा से कड़ी चुनौती मिलेगी क्योंकि वह छठे नंबर पर ‘फिनिशरÓ के तौर पर बेहतर होते दिख रहे हैं। पांचवें नंबर का स्थान है जहां श्रेयस अय्यर को मार्को जेनसेन, जेराल्ड कोएत्जी और एंडिले फेलुकवायो की शॉर्ट पिच गेंदों से चुनौती मिलने की उम्मीद है। अगर ईशान को शामिल करते हैं तो जितेश को मौका नहीं मिलेगा क्योंकि दोनों ही विकेटकीपर बल्लेबाज हैं और ऐसे में रिंकू सिंह को अंतिम एकादश में जगह दी जाएगी। ऋतुराज, जायसवाल, रिंकू और जितेश जैसे खिलाडिय़ों के लिए किंग्समीड पर अतिरिक्त उछाल अलग तरह की चुनौती पेश करेगा।
गेंदबाजों को मुश्किल में डाल सकते हैं क्लासेन, मिलर, मार्करम
दक्षिण अफ्रीका के मुख्य तेज गेंदबाज कैगिसो रबाडा को आराम दिया है, जबकि एनरिक नोत्र्जे और लुंगी एन्गिडी चोटिल हैं, लेकिन टीम अपने मैदान पर काफी मजबूत होगी। ऑस्ट्रेलिया ने ज्यादातर मैचों में भारतीय गेंदबाजी आक्रमण को चुनौती दी, लेकिन दक्षिण अफ्रीका में लेंथ का महत्व दोगुना हो जाएगा। दक्षिण अफ्रीकी टीम में क्विंटन डिकॉक नहीं होंगे, लेकिन हेनरिक क्लासेन, डेविड मिलर, कप्तान एडेन मार्करम, ट्रिस्टन स्टब्स और मैथ्यू ब्रीट्जस्के भारतीय गेंदबाजों को मुश्किल में डाल सकते हैं। रविंद्र जडेजा इस सीरीज में उपकप्तान हैं और उनके सातवें नंबर पर बल्लेबाजी करने की उम्मीद है। दूसरे स्पिनर निश्चित रूप से ‘गुगलीÓ विशेषज्ञ रवि बिश्नोई होंगे जो अब दुनिया के नंबर एक टी-20 स्पिनर हैं। दीपक चाहर, अर्शदीप सिंह और मुकेश कुमार तीन तेज गेंदबाजी विकल्प होने की उम्मीद है।