बिलासपुर। बिलासपुर वन परिक्षेत्र अंतर्गत सोठी सर्किल के बिटकुला बीट में शिकारियों ने एक नर तेंदुआ को मौत के घाट उतार दिया है। शिकार के साथ नाखून निकालने के लिए चारों पंजों को ही काटकर ले गए। दांत व पूंछ भी गायब हैं। जंगल के अंदर इतनी बड़ी घटना हो गई पर रखवालों को इसकी भनक तक नहीं लगी। दो दिन बाद सोमवार को जब किसी ग्रामीण ने इसकी सूचना दी तो विभाग में हड़कंप मच गया। इसके बाद भी अफसरों को घटना स्थल तक पहुंचने में शाम हो गया। अंधेरा होने की वजह से जांच नहीं हो पाई। मृत तेंदुआ उम्र सात से आठ साल है।
घटना दो से तीन दिन पहले की है। स्थानीय एक ग्रामीण अमृत टंडन स्वजन के साथ सोमवार सुबह लकड़ी एकत्र करने के लिए जंगल गया था। इसी बीच उसे बदबू आई। थोड़ी दूर में उसे एक तेंदुआ मृत अवस्था में दिखा। उन्होंने इसकी सूचना वन विभाग को दी है। खबर तो यह है कि सूचना पहले रायपुर पहुंची। वहां से बिलासपुर वन मंडल को जानकारी मिली। इसके बाद अधिकारी से लेकर कर्मचारी सकते में आ गए। शाम छह बजे के लगभग घटना स्थल पहुंचे। हालांकि संबंधित सर्किल व बीट के कर्मचारी घटनास्थल पहुंच गए थे। इस दौरान अधिकारियों के पहुंचने का इंतजार करते रहे। मृत तेंदुआ को देखने से पता चल रहा है कि मामला शिकार का है। शिकारी नाखून निकालने के लिए तेंदुआ के चारों पंजों को काटकर ले गए हैं। इसके अलावा दांत भी उखाड़कर ले गए हैं। अफसरों की लेटलतीफी की वजह से ठीक तरह से जांच नहीं हो सकी। शव अभी जंगल में है। मौके पर वन कर्मचारियों की ड्यूटी लगाई गई है। मंगलवार को पोस्टमार्टम किया जाएगा।

घटना की जानकारी मिलने के बाद वाइल्ड लाइफ सीसीएफ एस जगदीशन ने अचानकमार टाइगर रिजर्व के डाग नैरो को घटना की जांच के लिए भेजा है। नैरो को लेकर हैंडलर मौके पर पहुंच गया है। डाग सुराग ढूंढने का प्रयास किया। लेकिन अंधेरे की वजह से जांच ठीक तरह से नहीं हो पाई। मंगलवार की सुबह से डाग शिकारियों तक पहुंचने का प्रयास करेगा।
