रायपुर। छत्तीसगढ़ में आरक्षण का मुद्दा खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है। मंगलवार को फिर मामला गरमाया। इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के 9वें दीक्षांत समारोह में आरक्षण को लेकर विधेयक के सवाल पर राज्यपाल विश्वभूषण हरिचंदन बचते नजर आए। उन्होंने मामले में कोई जवाब ने देकर कहा कि आस्क टू सीएम यानी मुख्यमंत्री से पूछिए।
उन्होंने जाते-जाते कहा कि मैं राज्यपाल हूं और यह सियासी मसला है। इस मामले में मुख्यमंत्री से बात कीजिए। वहीं विधेयक पर दस्तखत करेंगे या लौटाएंगे के सवाल पर भी उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया। मामले में सीएम भूपेश बघेल ने कहा कि राजभवन में साढ़े 4 महीने से यह बिल लंबित है। हम लगातार प्रयास कर रहे हैं, लेकिन बीजेपी बिल पर दस्तखत नहीं करवाने देना चाहती है।

उन्होंने आरक्षण को लेकर कहा कि मैंने कल प्रधानमंत्री को पत्र लिखा है। उधर से जवाब नहीं आया है। लगता है कि बीजेपी आरक्षण के खिलाफ है। दीक्षांत समारोह में राज्यपाल विश्वभूषण हरिचंदन और मुख्यमंत्री भूपेश बघेल शिररत कर रहे थे। मंच पर दोनों उपस्थित थे। कार्यक्रम के बाद मीडिया से बातचीत में दोनों ने अपनी बातें रखीं। इस दौरान सीएम ने कहा विधानसभा से जो पारित है वो विधेयक राजभवन में लंबित है। हमें कृषि महाविद्यालय शुरू करने हैं और भी महाविद्यालय खोले जा रहे हैं। अब हमें भर्ती करनी है, स्टाफ की, असिस्टेंट प्रोफेसर की भर्ती करने पड़ेगी, लेकिन जब तक कि आरक्षण की बिल लटका हुआ तब तक हम भर्ती नहीं कर पा रहे हैं। बहुत सारे विभाग है जिनमें हमें भर्ती करनी है बिल पास न होने से भर्ती अटकी है।
