कोरबा। छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले में बाल विवाह का मामला सामने आया है। जिले के बांगो थाना क्षेत्र के ग्राम पंचायत सलिहाभांठा में महज 13 साल की बच्ची का ब्याह गांव के ही 20 साल के युवक से कराया जा रहा था। शादी की तैयारियां हो चुकी थी और दूल्हा बारात लेकर आने की तैयारी में था। इस बीच पुलिस, महिला एवं बाल विकास विभाग व चाइल्ड लाइन की टीम ने पहुंचकर न सिर्फ शादी रुकवाई बल्कि परिजनों को भी समझाइश दी। इसके बाद परिजनों ने बारातियों को मना किया और शादी भी रोक दी।
दरअसल यह पूरा कोरबा जिले के ग्राम पंचायत सलिहाभांठा के ग्राम मनहोरा का है। 13 साल की बच्ची के पिता मजदूरी करते हैं और आर्थिक स्थिति ठीक नहीं होने के कारण अपनी 13 साल की बेटी का रिश्ता 20 साल के युवक से तय कर दिया। शादी की पूरी तैयारी कर ली गई। आज बारात भी आने वाली थी इस बीच बाल विवाह की जानकारी प्रशासन तक पहुंच गई। फिर क्या था इसके बाद महिला एवं बाल विकास विभाग, चाइल्ड लाइन और पुलिस की संयुक्त टीम ग्राम मनहोरा पहुंची।
टीम जब पहुंची तो गांव में हड़कंप मच गया। पहले तो परिजन कुछ भी समझने को तैयार नहीं थे और शादी के लिए अड़े रहे। इसके बाद टीम ने बैठकर बच्ची के माता पिता व गांव वालों को समझाया। टीम ने बताया कि लड़की की शादी 18 साल से पहले और लड़के की शादी 21 साल से पहले करवाना गैरकानूनी है। ऐसा करने पर गिरफ्तारी व कड़ी से लेकर जुर्माने का प्रावधान है। इस दौरान टीम ने बाल विवाह से होने वाली दिक्कतों को लेकर भी परिवार को जागरूक किया। टीम की समझाइश का असर हुआ और परिजनों ने शादी रोक दी। यही नहीं परिजनों ने बारात को भी आने से मना कर दिया। इधर महिला एवं बाल विकास विभाग की टीम ने बताया कि स्कूली दस्तावेजों के अनुसार बच्ची की उम्र 13 साल 8 माह है और लड़के उम्र भी 21 साल से कम है ऐसे में यह शादी पूरी तरह से गैरकानूनी थी। जिसे समय रहते रुकवाया गया।