बिलासपुर। सूदखोर, कांग्रेसी पार्षद व सरपंच से परेशान यहां के एक इंजीनियर ने आत्महत्या कर ली। इंजीनियर ने आत्महत्या से पहले 6 पन्नों का एक सुसाइड नोट भी लिखा जिसे पुलिस ने बरामद किया है। सुसाइड नोट व मृतक की पत्नी के बयान के आधार पर पुलिस ने सूदखोर, कांग्रेसी पार्षद व सरपंच के खिलाफ अपराध दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। घटना जिले के सकरी थाना क्षेत्र का है।
मिली जानकारी के अनुसार आसमा सिटी बिलासपुर निवासी ऋषभ निगम ने गुरुवार को फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। घटना की सूचना के बाद सकरी पुलिस मौके पहुंची और शव को पीएम के लिए भेजा। घटनास्थल पर पुलिस ने सुसाइड नोट बरामद किया है जिसमें मृतक ने अपनी मौत का जिम्मेदार सूदखोर जितेन्द्र मिश्रा, कांग्रेसी पार्षद अमित भरते और सरपंच संदीप मिश्रा को ठहराया है। मृतक ने सुसाइड नोट में इन्हें सजा देने की बात लिखी है।
सकरी पुलिस ने बताया कि मृतक ऋषभ निगम के सुसाइड नोट के मुताबिक उसने जितेन्द्र मिश्रा से चार लाख रुपए उधार लिए थे। इसी प्रकार कांग्रेसी पार्षद से भी अलग अलग किश्तों में चार लाख का कर्ज लिया था। इनसे कर्ज लेने के बाद वह अब तक दोनों चार गुना लौटा चुका है इसके बाद भी इनका कर्ज खत्म नहीं हो रहा है। सूधखोर व कांग्रेसी पार्षद के संदीप मिश्रा लगातार ऋषभ पर पैसे देने का दबाव बना रहे थे जिसके कारण वह काफी परेशान हो गया था।
मृतक ऋषभ ने यह सुसाइड नोट बिलासपुर एसपी के नाम पर लिखा था। सुसाइड नोट के माध्यम से उसने बताया कि कर्ज चुकाने के लिए उसने अपनी पत्नी के गहने गिरवी रख दिए। यहां तक अपनी क्रेटा कार भी उन्हें दे दिया था इसके बाद भी वे रोज कर्ज का पैसा वसूलने के लिए पहुंच जाते थे। जितना दिया उसे केवल ब्याज बताते और असल अभी लेने की बात करते थे। ऋषभ ने सुसाइड नोट में यह भी लिखा कि वह इन लोगों से वे त्रस्त हो चुका है और आत्महत्या करने के लिए मजबूर है। अंत में उसने लिखा कि इन सभी को सजा जरूर दें।