चंडीगढ़ (एजेंसी)। ऑनर किलिंग के बढ़ते मामलों पर चिंता जताते हुए पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने हरियाणा से पूछा कि आखिर क्यों ऑनर किलिंग के मामले बढ़ रहे हैं। हाईकोर्ट ने कहा कि ऐसे मामलों में जांच के लिए विशेष पद्घति अपनाई जानी चाहिए लेकिन गैर वैज्ञानिक जांच ही की जाती है। हाईकोर्ट ने हरियाणा के डीजीपी से पूछा है कि प्रदेश में ऑनर किलिंग के कितने मामले दर्ज हुए हैं और लंबित मामलों की संख्या कितनी है। ऐसे मामलों में जांच जल्द और बेहतर तरीके से करने के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) द्वारा तेजी से जांच के लिए विशेष जांच दल बनाने पर भी हाईकोर्ट ने जवाब मांगा है। इसके साथ ही यह भी पूछा है कि ऑनर किलिंग में प्रभावित परिवार, गवाह व जोड़े में से जीवित साथी की सुरक्षा के लिए पुलिस क्या कदम उठाती है।
हाईकोर्ट ने सरकार से सवाल ऑनर किलिंग के एक मामले की सुनवाई के दौरान उठाए। दरअसल फतेहाबाद के भट्टू कलां में हुई ऑनर किलिंग के मामले में रवि कुमार व अन्य 14 लोगों पर आरोप था कि उन्होंने एक युवक धर्मवीर का अपहरण कर उसकी हत्या कर दी। ऐसा इसलिए किया गया कि धर्मवीर ने आरोपियों के परिवार की लड़की सुनीता से प्रेम विवाह किया था। इस मामले में 1 जून 2018 को 15 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई, जिसमें लड़की के परिवार वाले और रिश्तेदारों के नाम शामिल थे। लड़की ने मजिस्ट्रेट के सामने परिवार वालों के खिलाफ बयान दर्ज कराए। इस मामले में आरोपी रवि ने नियमित जमानत की मांग के लिए याचिका दाखिल की है। हाईकोर्ट ने याचिका पर सुनवाई के दौरान जांच पर सवाल उठाए।