भिलाई. गोल्डन वॉयस अवार्ड फंक्शन सीजन-3 के पुरस्कार वितरण समारोह में वयोवृद्ध वायलनिस्ट पं. कीर्ति माधव व्यास ने वायलिन की तान छेड़ दी. श्रोतागण इसमें मंत्रमुग्ध हो कर खो गए. पं. व्यास ने इस अवसर पर कहा कि कैराओके सिंगिंग से बेशक गायन की यात्रा शुरू की जा सकती है पर आगे बढ़ने के लिए लाइव म्यूजिक के साथ गाना ही पड़ेगा. उन्होंने कहा कि कैराओके ने साजिन्दों के लिए बड़ी मुश्किलें खड़ी कर दी हैं. उन्हें काम नहीं मिल रहा है.
समारोह में बीएसपी-ओए के अध्यक्ष नरेन्द्र बंछोर, महासचिव परविन्दर सिंह, संगीत गुरू पीटी उल्लास कुमार, दीपेन्द्र हालदार, गायिका श्रद्धा कश्यप, बी उषा, माया बनर्जी, तृप्ति साहू विशेष रूप से आमंत्रित थे. गोल्डन वॉयस अवार्ड के प्रतिभागियों के साथ ही बीएसपी द्वारा आयोजित अंतरविभागीय गायन प्रतियोगिता के विजेताओं ने भी यहां अपनी प्रस्तुतियां देकर कार्यक्रम को चार चांद लगा दिये. अतिथियों ने गोल्डन वायस के इस प्रयास की भूरि-भूरि प्रशंसा की जो लगातार गायकों को मंच प्रदान करने की कोशिश कर रहा है. इस अवसर पर युवा कलाकार अक्षय फिलिप ने अपनी जबरदस्त प्रस्तुति देकर लोगों का आशीर्वाद प्राप्त किया.
प्रतियोगिता की गजल श्रेणी में 55 वर्ष से कम आयुवर्ग में नीरज मढ़रिया – विजेता तथा हेमन्त उइके एवं शैली शर्मा उपविजेता रहे. 55 से अधिक आयु वर्ग में पारिजात झा विजेता तथा ईश्वर दयाल चन्द्राकर एवं डॉ यशेश दलाल उपविजेता रहे. इस श्रेणी का विशिष्ट पुरस्कार डॉ राजू धीर को प्रदान किया गया.
सुगम संगीत के 55 वर्ष से कम आयु वर्ग में रंजनी रमेश विजेता तथा इंद्र कुमार एवं दामोदर दलाई उपविजेता रहे. 55 से अधिक आयु वर्ग में ए अजित विजेता तथा मणि शिवराम टोपिल एवं ज्योति कुमार ब्राह्मणकर उपविजेता रहे. सभी वर्गों में पांच-पांच अतिरिक्त पुरस्कार श्रेष्ठ गायन के लिए प्रदान किये गये.
भारतीय क्षेत्रीय भाषा वर्ग में प्रथम पुरस्कार तेलुगु गायन के लिए पी पूजा एवं बीएस मूर्ति को प्रथम पुरस्कार दिया गया. उपविजेता का पुरस्कार जीएस वेंकट सुब्रमणियम को प्रदान किया गया.
सीजन-1 एवं 2 की परम्परा को जारी रखते हुए इस बार दो प्रतिभागियों को विशेष पुरस्कार प्रदान किये गये. इनमें बी महेश कुमार को वॉयस ऑफ किशोर कुमार तथा पारिजात झा को वॉयस ऑफ एसडी बर्मन के खिताब से नवाजा गया.
कार्यक्रम का संचालन दीपक रंजन दास ने किया. इस अवसर पर गोल्डन वॉयस स्टूडियो के सुशील देव भालेकर, डॉ शशिभूषण साहू, डॉ लक्ष्मी वर्मा एवं गरिमा सिन्हा के अलावा 70 से अधिक प्रतिभागी उपस्थित थे.
इस प्रतियोगिता के पहले चरण का जजमेंट श्रद्धा कश्यप, तृप्ति साहू एवं माया बेनर्जी एवं द्वितीय चरण का निर्णय ज्ञान चतुर्वेदी, सुमिता सरकार एवं बी उषा ने किया।